नई दिल्ली,नकदी संकट को लेकर भले ही सरकार का दावा हो कि 80 प्रतिशत एटीएम में पैसे हैं, लेकिन सच तो यह है कि बिहार, गुजरात, मध्य प्रदेश समेत कई अन्य राज्यों के ज्यादातर एटीएम अब भी खाली हैं। लोगों को अब भी अपने पैसे के लिए बैंकों और एटीएम के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं। सरकार और आरबीआई का दावा है कि नोटों की छपाई लगातार जारी है और संकट वाले राज्यों में तेजी से नकदी की आपूर्ति की गई है। हालांकि एटीएम खाली हैं। लोगों की शिकायत है कि उन्हें अपने पैसे के लिए चार दिनों से भटकना पड़ रहा है। रोजमर्रा की जरूरतों के लिए भी उनके पास पैसे नहीं बचे हैं। इधर, अखिल भारतीय बैंक कर्मचारी संघ (एआईबीईए) ने गुरुवार को रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गवर्नर उर्जित पटेल को हटाने की मांग की थी। बैंक कर्मचारी संघ ने आरबीआई पर उपेक्षापूर्ण रवैया अपनाने का आरोप लगाया और कहा था कि इसी कारण देशभर के एटीएम खाली पड़े हुए है। एआईबीईए महासचिव सीएच वेंकटचलम ने कहा, आरबीआई अप्रासंगिक बन गया है, क्योंकि वह सरकार का पिछलग्गू बना हुआ है और स्वतंत्र रूप से अपनी शक्तियों का इस्तेमाल नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा कि नोटबंदी के 16 महीने बाद भी बैंकों के कई एटीएम को अब तक नए नोटों के लिए कैलिब्रेट नहीं किया गया है। हालांकि सरकार का दावा है कि बाजार में पर्याप्त कैश है।