रांची,मुख्यमंत्री रघुवर दास ने विधानसभा में आगामी वित्तीय वर्ष 2018-19 के लिए वार्षिक बजट पेश करते हुए कहा कि विकसित झारखंड के लिए चार-पांच वर्ष का समय चाहिए। उन्होंने कहा कि 2022 तक राज्य से गरीबी को समाप्त करने के संकल्प के साथ सरकार काम में जुटी है।बजट पेश करने के बाद प्रेस कांफ्रेंस में मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले बजट भाषण में की गयी अधिकांश घोषणाओं को पूरा कर लिया गया है और कुछ घोषणाओं को पूरा करने के लिए प्रयास जारी है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने यह तय किया है कि गांव की योजना, अब गांव में बने, ग्राम विकास समिति योजना बनाये और सरकार सीधे गांव तक पैसा उपलब्ध करा रही है। सभी हाथों को काम मिले और युवाओं में कौशल विकास के लिए स्कील यूनिवर्सिटी की स्थापना की जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि महिलाओं के लिए मात्र एक रुपये पर जमीन का निबंधन कराने की योजना से राज्य सरकार को राजस्व की कुछ क्षति हुई, लेकिन जिस तरह से पूर्व में डायन-बिसाही और दहेज को लेकर महिलाओं की हत्या एवं उन्हें प्रताड़ित करने की घटनाएं सामने आती थी, उसमें कमी आएगी। इस संबंध में विकास आयुक्त अमित खरे ने कहा कि निबंधन और एवं मद्य्न-निषेध एवं उत्पाद विभाग से प्राप्त होने वाले राजस्व का प्रतिशत काफी कम होता है, सरकार को मुख्य रुप से जीएसटी, वैट व नन टैक्स रायल्टी से राजस्व की प्राप्ति होती है।एक प्रश्न के उत्तर में मुख्यमंत्री ने बताया कि जनवरी महीने में बजट पेश करने से कई फायदे हुए है, इससे एक तो मार्च लूट की प्रवृति पर अंकुश लगा है, वहीं जनवरी में ही बजट तैयार हो जाने से संबंधित विभाग योजनाओं के लिए प्राक्कलन तैयार करने और इसे स्वीकृत कराने का काम शुरु कर देंगे, पहले फरवरी-मार्च में बजट पेश होने से प्राक्कलन तैयार करने और इसे स्वीकृत कराते-कराते बारिश का मौसम आ जाता था और बारिश की वजह से काम शुरु नहीं हो पाता था, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा, नये वित्तीय वर्ष शुरु होने के साथ ही काम धरातल पर उतरने लगेगा। एक अन्य प्रश्न के उत्तर में मुख्यमंत्री ने बताया कि चालू वित्तीय वर्ष में बजट की 90 प्रतिशत से ज्यादा राशि खर्च हो जाएगी।