सरकार ने बहू को भी माना परिवार का सदस्य,अब बहुओं को कम लगेगी स्टांप ड्यूटी

भोपाल, मध्य प्रदेश सरकार ने भारतीय स्टांप एक्ट अधिनियम के उपबंधों में संशोधन किया है। संशोधन के बाद ससुर की संपत्ति यदि बहू को ट्रांसफर होती है तो उसे परिवार का सदस्य मानते हुए कम स्टांप ड्यूटी चुकाना होगी। अभी तक के नियम में बहुओं को बाजार रेट पर ड्यूटी चुकाने की बाध्यता थी। नए संशोधन के बाद अब बहू को भी परिवार के सदस्य के रूप में दर्जा मध्य प्रदेश सरकार ने दे दिया है।
पंजीयन विभाग के अनुसार महिला सशक्तिकरण की दिशा में सरकार ने अब बहुओं को भी परिवार का अंग मान लिया है। एक्ट में संशोधन कर परिवार में सास- ससुर, पति, भाई- बहन और बच्चे शामिल थे। अभी ससुर अपनी बहू के पक्ष में कोई संपत्ति देता था तो उसे पूरी ड्यूटी चुकानी पड़ती थी किंतु नए संशोधन के बाद अब बहुओं को भी परिवार का अंग मान लिया गया है| अब वही ड्यूटी लगेगी जो परिवार के अन्य सदस्यों को लगती हैं।
पावर ऑफ अटॉर्नी
परिवार का कोई सदस्य या ससुर अब बहू के नाम पर पावर आफ अटार्नी करेगा तो उसे 5 फ़ीसदी स्टांप ड्यूटी के स्थान पर केवल 1000 रुपये का स्टांप शुल्क लगेगा|
हक त्याग
यदि ससुर बहू के पक्ष में अपनी पैतृक संपत्ति का हक त्याग करता है ऐसी स्थिति में अब ढ़ाई फीसदी स्टाम्प ड्यूटी लगेगी। अभी यह 5 फ़ीसदी लगती थी।
दान पत्र
ससुर यदि अपनी संपत्ति बहू को दान करता है तो स्टांप ड्यूटी भी ढाई फीसदी ही लगेगी। अभी तक यह 5 फ़ीसदी लगती थी।

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