दिल्ली,केरल के वायनाड से लोकसभा का चुनाव जीतने वाले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी को आपराधिक मानहानि के मामले में सूरत की कोर्ट द्वारा दोषी ठहराने और दो साल कि सजा सुनाये जाने के बाद आज उनकी संसद सदस्यता रद्द कर दी गई। आज दोपहर इसकी अधिसूचना जारी की गई। इसके राहुल गांधी ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि मैं भारत की आवाज के लिए लड़ रहा हूं, जिसकी हर कीमत चुकाने के लिए वह तैयार हैं। वहीं, लोकसभा सचिवालय ने अधिसूचना में कहा कि उनकी अयोग्यता से संबंधी आदेश 23 मार्च से ही प्रभावशील रहेगा। इस आदेश के बाद अब वह अगले छह साल तक चुनाव भी नहीं लड़ सकेंगे।
जैसा की पता है सूरत की अदालत ने मोदी उपनाम को लेकर की गई राहुल गांधी कि टिप्पणी के खिलाफ 2019 में आपराधिक मानहानि का मामला दर्ज किया था। जिसमें उन्हें दो साल के कारावास की सजा दी गई है। अदालत ने उन्हें जमानत देते हुए सजा पर 30 दिनों तक अमल न करने की रोक लगा दी थी।
उधर,पार्टी मीडिया विभाग के अध्यक्ष जयराम रमेश ने कहा कि देश भर में यह मुद्दा लेकर पार्टी जाएगी कि उनकी सदस्यता जानबूझकर खत्म की गई है। उन्होंने राहुल की सदस्यता जाने के कारण गिनाते हुए कहा कि राहुल गांधी ने मोदी सरकार की नीतियों पर आवाज़ उठाई, भारत जोड़ो यात्रा की सफलता ने भाजपा में घबराहट पैदा की वहीं राहुल गांधी अडानी से जुड़े घोटाले पर सरकार से जबाब मांग रहे थे।