लंदन, आकाशगंगा के केंद्र में टिमटिमाता हुए एक विशाल सितारा ऐस्ट्रोनॉमर्स ने खोजा है। वैज्ञानिकों ने इस सितारे का नाम वीवीवी-डब्ल्यूआईटी-08 रखा गया है। यह धरती से करीब 25 हजार प्रकाशवर्ष दूर है और सूरज से 100 गुना ज्यादा बड़ा है। दिलचस्प बात यह है कि पहले किसी दूसरे ऑब्जेक्ट के पीछे यह छिपा हुआ था जिससे इसे गायब माना जा रहा था। जानकारी के मुताबिक इसके नाम के ‘व्हाटइजदिस’ हिस्से का मतलब है ‘यह क्या है’। ऐस्ट्रोनॉमर्स की एक इंटरनैशनल टीम 2010 तक के डेटा को स्टडी कर रही थी जब इस सितारे को देखा गया। यह डेटा यूरोपियन सदर्न ऑब्जर्वेटरी के चिली स्थित विस्टा टेलिस्कोप से मिला था। अधिकारियों का कहना है कि 2012 में यह धुंधला होना शुरू हुआ था और अप्रैल में गायब हो गया था।इसके करीब 100 दिन बाद इसकी चमक वापस आने लगी। वीवीवी-डब्ल्यूआईटी-08 पहला ऐसा सितारा नहीं है। इसके बावजूद इसकी मदद से विशाल सितारों को पढ़ने में मदद मिल सकती है। ]
ऐसा ही एक सितारा एपसीलोन ओरीजेय है जिसकी आधी चमक हर 27 साल पर गायब हो जाती है। ऐस्ट्रोनॉमर्स का मानना है कि 20-200 साल के बीच वीवीवी-डब्ल्यूआईटी-08 की चमक फिर से जा सकती है। कैंब्रिज यूनिवर्सिटी के इंस्टिट्यूट ऑफ ऐस्ट्रॉनमी के ले स्मिथ ने बताया कि यह विशाल डार्क ऑब्जेक्ट अचानक से आ गया। यह गायब क्यों हुआ था, इसके बारे कुछ पुख्ता अभी नहीं पता है। लेकिन माना जा रहा है कि कोई ज्यादा बड़ा ऑब्जेक्ट उसके सामने आ गया होगा। यह भी हो सकता है कि किसी ग्रह के चक्कर काट रहे धूल के गुबार ने टेलिस्कोप का व्यू ब्लॉक कर रखा हो।