अहमदाबाद, गुजरात के स्वास्थ्य विभाग की प्रधान सचिव डॉ. जयंति रवि के अचानक तबादला सचिवालय के वरिष्ठ अधिकारियों में चर्चा का विषय बन गया है.जयंति रवि को तत्काल प्रभाव से एरोविल फाउंडेशन तमिलनाडु का तीन वर्षों के लिए सचिव नियुक्त किया गया है. गुजरात में कोरोना महामाही के दौरान स्वास्थ्य सचिव की जिम्मेदारी निभाने वाली जयंति रवि कई बार विवादों में घिरी रहीं. कोरोना की पहली लहर में अस्पताल, बेड, उपचार, टेस्टिंग और ट्रेसिंग इत्यादि की जिम्मेदारी जयंति रवि पर थी. उस वक्त राज्य के स्वास्थ्य विभाग के निष्फल साबित होने की बूमरेंग हुई थी. कोरोना की दूसरी लहर में ऑक्सीजन, इंजेक्शन, अस्पतालों में बेड की किल्लत जैसे मेडिकल इमर्जंसी स्थिति के निर्माण ने भी जयंति रवि की मुश्किलें बढ़ाई थीं.राज्य के स्वास्थ्य विभाग की प्रधान सचिव होने के नाते पहली जिम्मेदारी जयंति रवि होने से कोरोना की दूसरी लहर के दौरान सरकार के सभी विभाग समेत राजनेताओं ने जयंति रवि को कठघरे में खड़ा कर दिया था. कोरोना संक्रमण कम होने के पश्चात जयंति रवि के आदेशों की अवगणना कर कुछ अधिकारी सरकार के साथ बैठकर फैसले करने लगे. जिससे जयंति रवि नाराज चल रही थीं. जयंति रवि ने कोरोना की पहली लहर के बाद ही अन्य राज्य खासकर तमिलनाडु में तबादला करने की पेशकश की थी. लेकिन कोरोना की दूसरी लहर को देखते हुए केन्द्र सरकार ने जयंति रवि का तबादला रोक दिया था. अब कोरोना संक्रमण लगातार घट रहा है, ऐसे में मंगलवार की सुबह अचानक जयंति रवि के तबादले के आदेश से सचिवालय में अधिकारियों में चर्चा का विषय बन गया है. डॉ. जयंति रवि को तमिलनाडु में एरोविल फाउन्डेशन का सचिव की जिम्मेदारी सौंपी गई है.