वुहान, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्युएचओ) के एक विशेषज्ञ ने कहा है कि कोरोना वायरस के चीन की एक प्रयोगशाला से फैलने की संभावना नहीं है और संभवत: इसने किसी मध्यवर्ती प्रजाति के जरिए मानव शरीर में प्रवेश किया होगा। हालांकि विश्व संस्था ने यह भी साफ किया है कि दिसंबर 2019 के पहले कोरोना के मामले कहीं नहीं थे। डब्ल्युएचओ टीम ने अपनी निष्कर्ष रिपोर्ट में कहा कि वुहान के हुआनन मार्केट में कोरोना के मामले फैले थे। विश्व स्वास्थ्य संगठन के बेन एम्बार्क ने कहा कि टीम को दिसंबर 2019 से पहले वुहान या किसी और जगह पर कोरोना वायरस संक्रमण के कोई सबूत नहीं मिले हैं, लेकिन जांच दल को दिसंबर 2019 में वुहान हुआनन मार्केट में वायरस संक्रमण के सबूत मिले हैं। बेन ने कहा कि हालिया वुहान इंवेस्टिगेशन ने कई नई जानकारियों का खुलासा किया है, लेकिन वायरस संक्रमण के चलते मौजूदा परिस्थितियों में कोई नाटकीय बदलाव नहीं आया है।
गौरतलब है कोरोना वायरस की उत्पत्ति का पता लगाने के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन की 14 सदस्यीय टीम चीन के वुहान गई थी। चीन के वुहान में ही नवंबर 2019 में वायरस संक्रमण का पहला मामला सामने आया था। डब्ल्यूएचओ की टीम के सदस्य और न्यूयॉर्क से ताल्लुक रखने वाले जंतु विज्ञानी पीटर दास्जाक ने कहा था कि जांच दल को महामारी के फैलने में वुहान सीफूड मार्केट की भूमिका के बारे में अहम सुराग हाथ लगे हैं। पीटर के मुताबिक 14 सदस्यीय डब्ल्यूएचओ जांच दल ने चीन के विशेषज्ञों के साथ मिलकर काम किया और वहुन के महत्वपूर्ण हॉट स्पॉट का दौरा कर अहम साक्ष्य जुटाए, ताकि ये पता चल सके कि वास्तव में वुहान में हुआ क्या था।” कोरोना वायरस संक्रमण से वैश्विक स्तर पर 10 करोड़ से ज्यादा लोग प्रभावित हैं, जबकि 23 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है। मई 2020 में विश्व स्वास्थ्य संगठन से वायरस की उत्पत्ति से जुड़े कारणों का पता लगाने की मांग की गई थी। इससे पहले कई सारी रिसर्च में ये दावा किया गया था कि वायरस की उत्त्पति में मार्केट की कोई भूमिका नहीं है। डब्ल्यूएचओ के रिसर्चरों ने इस दलील को इग्नोर करते हुए आगे जांच करने का फैसला किया।