वडोदरा, टीम इंडिया के ऑलराउंडर हार्दिक पंड्या और कृणाल पंड्या के पिता हिमांशुभाई पंड्या का आज सुबह दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया. इस खबर के बाद सैयद मुश्ताक अली ट्रोफी में खेल रहे कृणाल पंड्या वडोदरा के लिए रवाना हो गए हैं. हिमांशु पंड्या ने वडोदरा स्थित अपने निवास पर आखिरी सांस ली. हार्दिक और कृणाल पंड्या की सफलता में हिमांशु पंड्या का बड़ा हाथ रह है. सूरत में कार फाइनेंस का बिजनेस करने वाले हिमांशु पंड्या अपने दोनों बेटों को क्रिकेटर बनाने के लिए वडोदरा में आकर बस गए थे. सूरत के मुकाबले वडोदरा में क्रिकेट की बेहतर सुविधाएं उपलब्ध थीं. जिसकी वजह से हिमांशुभाई पंड्या ने अपने बिजनेस बंद कर दिया और वडोदरा को नया ठिकाना बनाया. जहां हार्दिक और कृणाल को क्रिकेटर बनाने में हिमांशु पंड्या ने तन-मन-धन तीनों लगा दिया. वन डे, टी-20 और टेस्ट क्रिकेट के तीनों फार्मेट में अपनी उपयोगिता साबित करने वाले हार्दिक पंड्या ने बहुत कम समय में भारतीय क्रिकेट टीम में अपनी जगह बना ली. हार्दिक और कृणाल पंड्या ने एक साथ क्रिकेट में प्रवेश किया था और बहुत ही कम समय में दोनों भाई लोकप्रिय हो गए. बता दें हार्दिक पंड्या ने साल 2017 में जब श्रीलंका के खिलाफ शतक ठोका था तो उन्होंने अपने पिता को कार गिफ्ट में दी थी. हार्दिक पंड्या ने एक ट्वीट के जरिये कहा था कि उनके पिता को जीवन की सभी खुशियां मिलनी चाहिए. पंड्या ने अपनी कामयाबी का पूरा श्रेय पिता को दिया था. पंड्या ने लिखा था कि उनके पिता ने अपने बेटों के करियर के लिए सबकुछ छोड़ दिया था, इसके लिए बहुत हिम्मत चाहिए होती है.