अशोकनगर, शुक्रवार की शाम शहर के साथ ही जिले भर में मानसून ने दस्तक दे दी है। मानसूनी दस्तक के कारण शुक्रवार को करीब साढ़े 4 घण्टे तक गरज-चमक के साथ बारिश हुई। यहां एक ही दिन में 27.25 मिमी वर्षा रिकार्ड की गई। इस बार मानसून समय पर पहुंचा, पिछले साल से करीब आठ दिन पहले मानसून ने दस्तक दे दी। इससे किसानों के चेहरे भी खिल गए।
गुरुवार शाम को हुई तेज बारिश के बाद रात में भी आंधी के साथ कई बार तेज बारिश हुई, वहीं शुक्रवार को दिनभर तेज धूप रहने के बाद दोपहर ढाई बजे से फिर तेज आंधी के साथ मुंगावली-बहादुरपुर क्षेत्र में तेज बारिश शुरू हो गई। जो शाम को 7 बजे तक जारी रही। साढ़े चार घंटे की तेज बारिश से सूखी पड़ी छोटी नदियों की धार चलने लगी। साथ ही 35 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चली आंधी से सैकड़ों पेड़ टूट गए। नेशनल हाइवे क्रमांक 346 पर भी मुंगावली से बहादुरपुर के बीच 20 किमी हिस्से में कई पेड़ टूटकर गिर जाने से रास्ता जगह-जगह जाम हो गया और वाहन निकलना बंद हो गए। दोपहिया वाहनों को मुश्किल से साइडों से होकर निकाला गया। वहीं डालियों की चपेट में आने से दो गायों की मौत हो गई और क्षेत्र में पेड़ मकान पर गिरने से मकान क्षतिग्रस्त हो गया, इससे तीन लोग घायल हो गए। वहीं शाम छह बजे से अशोकनगर क्षेत्र में ही तेज आंधी के साथ बारिश शुरू हो गई। जो देर शाम तक जारी रही।
मकान पर पेड़ गिरने से तीन लोग हुए घायल
रात एक बजे सिंघाड़ा गांव में आंधी से नीम का पेड़ नीतेश जैन के घर पर गिर गया। इससे मिट्टी व फर्सियों का मकान एक हिस्सा गिर गया। परिवार के सभी लोग उस समय सो रहे थे। इस घटना में दो महिलाओं सहित एक चार महीने का बच्चा घायल हो गया। जिन्हें इलाज के लिए रात दो बजे शहर के प्राईवेट अस्पताल लाया गया। जहां घायलों का इलाज हुआ और एक घायल सोनाली को आठ टांके आए।
छप्पर उड़ा, पड़ौसी के घर में ली शरण
अमोदा गांव में शाम के समय इंद्रजीत अहिरवार अपने घर पर चार बच्चों के साथ खाना खा रहा था, तभी आंधी से घर की छत की सीमेंट की चद्दरें बांस-बल्लियों सहित उडक़र 30 मीटर दूर खेत में जाकर गिरीं। बाद में परिवार को पड़ौसी के घर में शरण लेना पड़ी। वहीं गीलारोपा में दिव्यांग दंपत्ति अर्जुन और सविता कटारिया के घास-फूस का छप्पर उड़ गया और उन्हें भी पड़ौसी के घर रात गुजारना पड़ी।