भोपाल, भोपाल नगर निगम सहित सात नगरीय निकायों का कार्यकाल मंगलवार को समाप्त हो गया। इसके बाद यहां प्रशासक नियुक्त किया गया है। जिन नगरीय निकायों में मंगलवार को प्रशासक नियुक्त किया गया है उनमें भोपाल, इंदौर, जबलपुर, छिंदवाड़ा, बडोनी खुर्द, बनखेड़ी, पलेरा, शमशाबाद शामिल हैं।
भोपाल, इंदौर, जबलपुर में संभागायुक्त को प्रशासक बनाया गया है, वहीं छिंदवाड़ा की जिम्मेदारी कलेक्टर को दी गई है।
उल्लेखनीय है कि भोपाल महापौर आलोक शर्मा ने 18 फरवरी 2015 को ही भोपाल के महापौर पद की शपथ ली थी। फिलहाल, आलोक शर्मा भोपाल ऐसे आखिरी महापौर हो गए हैं, जो सीधे चुनाव के जरिए जीत कर आए थे। कांग्रेस सरकार ने नगर निगमों और नगरीय निकायों में अब महापौर और अध्यक्ष के चुनाव के नियम बदल दिए हैं। अब जो भी चुनाव होंगे, उनमें पार्षद ही महापौर का चयन करेंगे। इसकी अधिसूचना भी जारी कर दी गई है।
महापौर आलोक शर्मा ने अपने कार्यकाल के आखिरी दिन विकास कार्यों का हिसाब दिया है। ऐसा पहली बार हुआ है कि परिषद का कार्यकाल समाप्त होने पर नगर निगम ने कोई औपचारिक विदाई समारोह आयोजित नहीं किया है। इसे कमलापति प्रतिमा को लेकर उठे विवाद से जोड़ा जा रहा है। बताया जाता है कि निगम प्रशासन ने एक होटल में भोज की योजना बनाई थी, लेकिन विवाद के बाद उच्चस्तर से इसके लिए मनाही हो गई। बता दें, निगम परिषद की बैठक चार महीनों से नहीं हुई। जनवरी में निगमायुक्त ने स्वच्छ सर्वे को लेकर बैठक आयोजित करने को कहा लेकिन यह भी टल गई।
भोपाल-इंदौर सहित सात नगरीय निकायों में प्रशासक नियुक्त किये गए
