मुंबई, आख़िरकार सोमवार को महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे सरकार का पहला मंत्रिमंडल विस्तार हुआ. महा विकास आघाडी की सरकार के पहले कैबिनेट विस्तार में तीनों ही दलों से कुल 36 मंत्रियों ने शपथ ली.अब उद्धव सरकार में 26 कैबिनेट, 10 राज्य मंत्री हैं. सरकार में अब मंत्रियों की संख्या बढ़कर 43 हो गई है. सबसे पहले अजित पवार ने उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली. राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने उन्हें शपथ दिलाई. पिछले डेढ़ महीने में दूसरी बार पवार ने उप मुख्यमंत्री पद की शपथ ली है. अजित पवार ने इससे पहले बीजेपी के साथ सरकार बनाकर उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी, अब वह एनसीपी के कोटे से उद्धव सरकार में उपमुख्यमंत्री बने हैं. पवार के अलावा महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता अशोक चव्हाण ने भी कैबिनेट मंत्री की शपथ ली. एनसीपी नेता और विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष दिलीप वाल्से पाटिल, विधान परिषद में विपक्ष के पूर्व नेता धनंजय मुंडे और विधानसभा में विपक्ष के पूर्व नेता विजय वडेट्टीवार ने भी शपथ ली. वहीं मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे ने कैबिनेट मंत्री के तौर पर शपथ ली. एनसीपी के हसन मश्रीफ, अनिल देशमुख ने भी कैबिनेट मंत्री पद की शपथ ली. कांग्रेस की वर्षा गायकवाड़,अमित देशमुख, यशोमति एनसीपी के राजेंद्र सिंघने, नवाब मलिक भी उद्धव सरकार में मंत्री बने हैं. शिवसेना के अनिल परब और अब्दुल सत्तार ने भी शपथ ली.राज्यपाल भगत सिंह.कोश्यारी ने नए मंत्रियों को विधान भवन में पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई. शपथ ग्रहण समारोह में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और एनसीपी के अध्यक्ष शरद पवार मौजूद थे. विधानभवन परिसर में आयोजित शपथग्रहण समारोह में शामिल होने वाले कार्यकर्ताओं और आमलोगों के लिए करीब 10 एलईडी स्क्रीन भी लगाई गई थी ताकि जो लोग स्टेज के दूर हों उसके जरिये शपथग्रहण को देख सकें. इसके लिए विशेष तौर पर पंडाल भी बनाया गया था. बता दें कि इस बार के विधानसभा चुनाव ने ठाकरे परिवार के इतिहास को पूरी तरह से बदल दिया है. उद्धव ठाकरे कोई भी पद लेने वाले ठाकरे परिवार के पहले सदस्य थे, तो वहीं आदित्य ठाकरे चुनाव लड़ने वाले परिवार के पहले सदस्य थे. आदित्य ठाकरे ने इस बार मुंबई की वर्ली सीट से चुनाव लड़ा था, विधानसभा चुनाव के दौरान शिवसेना के समर्थक आदित्य ठाकरे को बतौर मुख्यमंत्री उम्मीदवार पेश कर रहे थे. सूत्रों की मानें तो, प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) की तर्ज पर महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने सीएमओ बनाने का मन बनाया है. इस विभाग की जिम्मेदारी आदित्य ठाकरे को दी जाएगी, ताकि भविष्य में बड़े रोल के लिए आदित्य को अभी से तैयार किया जा सके. गौरतलब हो कि 29 नवंबर को उद्धव ठाकरे द्वारा मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के साथ ही 6 मंत्रियों ने शपथ ली थी. शिवसेना से एकनाथ शिंदे और सुभाष देसाई, एनसीपी से जयंत पाटिल और छगन भुजबल और कांग्रेस की ओर से बालासाहेब थोराट और डॉ. नितिन राउत ने मंत्री पद की शपथ ली थी.
शिवसेना के कई विधायक नाराज
सूत्रों के अनुसार कैबिनेट लिस्ट में नाम नहीं होने से शिवसेना नेता दिवाकर राउते, रामदास कदम, दीपक केसरकर, रवींद्र वायकर, सुनील राउत नाराज हैं. बताया जा रहा है कि शिवसेना सांसद संजय राउत अपने भाई सुनील राउत को कैबिनेट में जगह नहीं दिए जाने से पार्टी नेतृत्व से खासे नाराज हैं.
हमारी सरकार स्थिर होगी- आदित्य ठाकरे
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे ने कहा कि यह जिम्मेदारी अहम है. हमारी सरकार स्थिर होगी. हम सभी के बीच अच्छा तालमेल है. हम सभी विषयों पर एक-दूसरे से बात करेंगे. आदित्य ठाकरे ने कहा कि अब विकास का वक्ता आ गया है. समीकरण बदल चुके हैं, जिन लोगों को महाराष्ट्र की सेवा करनी है. वो साथ आए हैं. हमारे साथ सत्यवादी लोग हैं. हमारे मित्र साथी कांग्रेस और एनसीपी में कोई क्रेडिट वॉर नहीं है ना ही कोई अविश्वास है. हम लोग सत्य के साथ बस काम करने चाहते हैं. कांग्रेस-एनसीपी-शिवसेना मिलकर जनता के लिए काम करेगी.
काले कोट और पैंट में दिखे आदित्य
उद्धव ठाकरे ने जब मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी, तब वह भगवा कुर्ता पहन माथे पर टीका लगाए हुए नज़र आए थे. वहीं सोमवार को आदित्य ठाकरे बंद गले के काले कोट और पैंट में दिखे और मंत्री पद की शपथ ली. शपथ लेने के बाद आदित्य ठाकरे ने राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के पैर भी छुए.
शपथ ग्रहण समारोह में हुआ विवाद
शपथ ग्रहण समारोह में विवाद भी हो गया. विवाद उस वक्त हुआ जब कांग्रेस के कोटे से नेता के.सी.पाडवी ने शपथ लेते समय कुछ लाइन अपनी तरफ से जोड़ दी. इस पर राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी नाराज हो गए. उन्होंने तुरंत के.सी.पाडवी को फटकार लगाते हुए कहा कि जो लिखा है केवल वही पढ़ें. राज्यपाल कोश्यारी ने फिर के.सी.पाडवी को दोबारा शपथ दिलवाया.
कांग्रेस के 10 और एनसीपी के 12 विधायक बने मंत्री
कांग्रेस के जो 10 विधायक आज मंत्री बने हैं उनमें 8 कैबिनेट और 2 राज्यमंत्री शामिल हैं. इनमें अशोक चव्हाण (कैबिनेट), अमित देशमुख (कैबिनेट), असलम शेख (कैबिनेट), यशोमति ठाकुर (कैबिनेट), वर्षा गायकवाड़ (कैबिनेट), सुनील केदार (कैबिनेट), केसी पाडवी (कैबिनेट), विजय वडेट्टीवार (कैबिनेट), विश्वजीत कदम (राज्य मंत्री), सतेज पाटिल (राज्य मंत्री).वहीं एनसीपी कोटे से अजित पवार, दिलीप वलसे-पाटील, हसन मुश्रीफ, राजेश टोपे, अनिल देशमुख, राजेंद्र शिंगणे, नवाब मलिक, जितेंद्र आव्हाड, धनंजय मुंडे, बालासाहेब पाटील, दत्ता भारणे, आदिती तटकरे मंत्री बनाए गए.
मंत्री बनने वाले विधायकों में नाराजगी
महाराष्ट्र में शपथग्रहण समारोह से पहले मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने आधी रात के बाद सोमवार को मंत्री पद की शपथ लेने वाले सभी विधायकों को अपने आवास पर बुलाया. इस दौरान सीएम उद्धव ठाकरे और विधायकों के बीच काफी देर तक बातचीत हुई. कहा जा रहा है कि अचानक बुलाए जाने से सभी विधायक नाराज हो गए, क्योंकि वे लोग अपने परिवार के साथ शपथग्रहण समारोह में हिस्सा लेना चाहते थे. ऐसे में अचानक मंत्री बनाए जाने की जानकारी मिलने के बाद वे विधायक अपने परिवार वालों को बता नहीं पाए. चूकि कई विधायकों का परिवार महाराष्ट्र के अलग-अलग शहरों में रहता है, जिनके लिए सोमवार को मुंबई आना संभव नहीं था.