मुंबई, कांग्रेस विधायक नाना पटोले महाराष्ट्र विधानसभा के निर्विरोध अध्यक्ष चुन लिए गए हैं। शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस के गठबंधन महाविकास आघाड़ी ने उन्हें संयुक्त रूप से अध्यक्ष पद के लिए उम्मीदवार घोषित किया था। भाजपा ने भी स्पीकर पद के लिए अपना प्रत्याशी उतारा था, लेकिन बाद में नाम वापस ले लिया। उल्लेखनीय है कि नाना पटोले भाजपा के पूर्व सांसद हैं, लेकिन उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी पर तानाशाही का आरोप लगाते हुए सांसद पद से इस्तीफा दे कर भाजपा छोड़ दी थी और कांग्रेस में शामिल हो गए थे।
विधानसभा में सबसे बड़े दल भाजपा ने स्पीकर पद के लिए विधायक किशन कथोरे का नाम आगे किया था, लेकिन चुनाव से ठीक पहले भाजपा ने उनका नाम वापस ले लिया था। भाजपा ने मुरबाड विधानसभा सीट से विधायक किशन कथोरे को विधानसभा अध्यक्ष चुनाव के लिए अपना प्रत्याशी बनाया था किशन कथोरे पहले कांग्रेस में थे और कांग्रेस के टिकट पर दो बार विधायक भी रह चुके हैं। सन 2014 में वह भाजपा में शामिल हो गए थे।
भाजपा नेताओं ने कहा सत्ता पक्ष के आग्रह पर उसने कथोरे का नाम वापस ले लिया। बहरहाल, पटोले के निर्वाचन के बाद मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा नाना पटोले एक किसान परिवार से हैं। उन्होंने कहा मुझे पूरा भरोसा है कि वह सभी के साथ न्याय करेंगे।
भाजपा नेता और पूर्व सीएम देवेंद्र फड़नवीस ने कहा हमने विधानसभा स्पीकर के पद के लिए किशन कठोरे को नामित किया था, लेकिन सर्वदलीय बैठक में अन्य दलों ने हमसे अनुरोध किया कि स्पीकर को निर्विरोध नियुक्त किए जाने की परंपरा है, इस लिए हमने अपने उम्मीदवार का नाम वापस ले लिया। उद्धव सरकार में कैबिनेट मंत्री और वरिष्ठ राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी नेता (एनसीपी) नेता छगन भुजबल ने भी कहा था, पहले विपक्ष ने भी स्पीकर पद के लिए उम्मीदवार खड़ा किया था, लेकिन हमारे विधायकों की तरफ से किए गए अनुरोध और विधानसभा की शुचिता बनाए रखने के लिए उन्होंने नाम वापस ले लिया। दरअसल, महाराष्ट्र विधानसभा में अध्यक्ष का चुनाव निर्विरोध करने की परंपरा रही है। महाराष्ट्र भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल ने कहा भाजपा ने विधानसभा स्पीकर पद के लिए किशन कथोरे को नामित किया था, लेकिन राज्य की परंपरा को ध्यान में रखते हुए हमने अपने प्रत्याशी का नाम वापस ले लिया।