जबलपुर,पचमढ़ी की डिफेन्स भूमि पर अतिरिक्त निर्माण करने वालों के मामलों पर सुनवाई हाईकोर्ट में अतिक्रमण करने वालों के मामले के साथ होगी। मंगलवार को एक्टिंग चीफ जस्टिस संजय यादव और जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीठ 7 मामलों को मूल याचिका के साथ लिंक करने के निर्देश देकर सुनवाई बढ़ा दी।
न्यायालय ने वर्ष 2013 में संज्ञान लिया था.
गौरतलब है कि पचमढ़ी की डिफेंस भूमि पर काबिज अतिक्रमणों के संबंध में न्यायालय ने वर्ष 2013 में संज्ञान लिया था। इसके बाद कई अतिक्रमणकारियों ने हाईकोर्ट में याचिकाएं दायर कीं। न्यायालय ने सुनवाई के बाद सभी अतिक्रमणकारियों को सख्ती से हटाने के निर्देश होशंगाबाद के जिला और पुलिस प्रशासन को दिये थे। उक्त आदेश के बाद हटाए गए अतिक्रमणकारियों के पुनर्विस्थापन को लेकर राज्य सरकार ने पुनर्वास की योजना तैयार की और उन्हें मटकुली क्षेत्र में पुनर्वास कर 6 सौ वर्गफुट के प्लॉट आवंटित करने का फैसला लिया। इसके खिलाफ डिफेंस की ओर से पेश की गई आपत्ति पर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार द्वारा की जा रही कार्रवाई पर रोक लगा दी थी। साथ ही अतिक्रमणों के खिलाफ कार्रवाई जारी रखने के भी निर्देश दिए थे। इस बीच डिफेंस भूमि पर अतिरिक्त निर्माण करने वालों नोटिस जारी किए गए। अतिरिक्त निर्माण करने वालों ने कंपाउण्डिंग के लिए आवेदन केन्ट बोर्ड में पेश किए, लेकिन सीईओ द्वारा उक्त आवेदन खारिज करने के खिलाफ ये मामले हाईकोर्ट में दायर किए गए।
बोर्ड को है अधिकार
आवेदकों का दावा है कि कंपाउण्डिंग का आवेदन खारिज करने का अधिकार सिर्फ केन्ट बोर्ड को है और सीईओ ने अपने क्षेत्राधिकार का दुरुपयोग करके उक्त आदेश जारी कियाए जो खारिज होने योग्य है। हाईकोर्ट में दायर 7 मामलों पर मंगलवार को सुनवाई हुई। सुनवाई के बाद युगलपीठ ने मूल याचिका के साथ इन मामलों पर सुनवाई करने के आदेश दिए। युगलपीठ द्वारा सुनाए गए विस्तृत आदेश की फिलहाल प्रतीक्षा है।
पचमढ़ी में अतिक्रमण संबंधी सात मामलों की मूल याचिका के साथ होगी सुनवाई
