बच्चे फलों और हरी सब्जियों की कमी से मधुमेह का शिकार हो रहे

नई दिल्ली,बच्चों में मधुमेह के मामले बढ़ते जा रहे हैं। जानकारों के अनुसार फलों और हरी सब्जियों की कमी से मधुमेह (डायबिटीज) का रोग बढ़ा है। 10 या 11 साल की की उम्र में ज्यादातर बच्चें अधिक वजन वाले या मोटापे का शिकार हो रहे है जिससे उनमें डायबिटीज जैसी बीमारी के लक्षण देखने को मिल रहे हैं।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि हर दिन दो तिहाई से अधिक लोग फलों और हरी सब्जियों का खाने में कम इस्तेमाल करते है, जिससे उनमें डायबिटीज टाइप 2 जैसी गंभीर बिमारी होने के खतरा हो सकता है।
विशेषज्ञों का मानना है कि व्यस्क हर दिन फलों और सब्जियों के तीन या उससे कम हिस्से का सेवन करते हैं जिससे करीब 12 मिलियन लोग, डायबिटीज टाइप 2 के शिकार हो सकते हैं।
एक सर्वे में पाया गया कि 66 प्रतिशत व्यस्क हर दिन केवल तीन या उससे कम मात्रा में फल और सब्जियां खाते हैं।
करीब 3.6 करोड़ लोग ब्रिटेन में डायबिटीज का शिकार हैं , जिनमें से 90 प्रतिशत लोगों को टाइप 2 डायबिटीज हैं। चैरिटी का कहना है कि अगर लोग अपने रहन सहन में बदलाव लाए तो डायबिटीज के पांच मामलों में से तीन से बचा जा सकता है।
हर कोई जानता है कि उन्हें पांच दिन फल और सब्जियां खाना चाहिए लेकिन फिर भी यह सर्वेक्षण बताता है कि यह संदेश लोगों तक ठीक तरह से नहीं पहुंच रहा है।
“यह जानना खतरनाक है कि अधिकांश लोग अभी भी पर्याप्त फलों और सब्जियों के सेवन से काफी दूर हैं। इतना ही नहीं, कई लोगों को इस बारे में भी नहीं पता हैं कि उन्हें कितनी मात्रा में फल और सब्जियां खाना चाहिए। डायबिटीज वाले लोगों के लिए हेल्दी लाइफस्टाइल के साथ हेल्दी खाना भी उतना ही महत्वपूर्ण है जिससे उनको इस गंभीर बीमारी को रोकने में आसानी होगी।
17 जून तक चलने वाले इस डायबिटीज वीक में लोगों को बंद डिब्बों में मिलने वाले खाद्य पदार्थों में कितनी मात्रा में चीनी पाई जाती हैं। दो तिहाई लोगों को यह नहीं पता कि एक टिन बेक्ड बीन्स में चीनी के पांच चम्मच तक शामिल हो सकते हैं।
लगभग दस में से छह लोगों ने कहा कि वे ज्यादा सब्जियां खाना चाहते है, लेकिन 23 प्रतिशत का कहना है कि वे काफी महंगी होती हैजबकि 10 लोगों में से लगभग एक का कहना हैं कि इसे बनाने में बहुत समय लगता है।

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