नई दिल्ली, बाजार में सीमैंट की कमी से पिछले 2-3 महीने में सीमैंट के दाम 100 रुपए प्रति बोरी तक बढ़ गए हैं। परेशान बिल्डरों का कहना है कि मई-जून के निर्माण कार्य के अनुकूल समय में सीमैंट न मिलने और इसकी कीमत बढऩे से घरों की कीमत भी बढ़ सकती है। दरअसल फरवरी तक सीमैंट की जो बोरी 260-270 रुपए में थी वह अप्रैल में 360 के पार हो गई है। इसका असर बिल्डरों पर पड़ रहा है। रियल एस्टेट कंपनी एटीएस के चेयरमैन गीतांबर आनंद ने कहा कि अप्रैल से जून के निर्माण कार्य के मुफीद समय में सीमैंट न मिलने से लागत बढ़ेगी, जिसका असर मकानों की कीमत पर भी पड़ सकता है। नैरेडको के उपाध्यक्ष प्रवीन जैन ने बताया कि सीमैंट डीलर्स स्टॉक न होने का हवाला देते हुए सौदे रद्द कर चैक लौटा रहे हैं। क्रेडाई वैस्टर्न यूपी के निदेशक अमित मोदी ने कहा कि सीमैंट की कीमतों में अनियमित वृद्धि सीधे निर्माण लागत को प्रभावित करती है,इसका ग्राहकों पर भी बोझ पड़ता है।
बेंगलूर, हैदराबाद चेन्नई जैसे दक्षिण भारतीय शहरों में सीमैंट के दाम 4 महीने में 100 रुपए तक बढ़ गए हैं। अगर सीमैंट डीलरों की मानें तो कुछ दिन में दाम में 25-30 रुपए और इजाफा हो सकता है। यही रफ्तार मई के अंत तक भी रही तो बाजार में सीमैंट के दाम 400 रुपए बोरी तक पहुंच सकते हैं। यूपी, झारखंड और बिहार में सीमैंट की कीमत में 70-75 रुपए तक की बढ़ौतरी हुई है। यूपी में मेरठ, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, बुलंदशहर, मुरादाबाद, बागपत में भी यही हालात हैं,जिससे ईंटों के भाव बढ़े हैं। व्यापारी सीमैंट के रेट बढऩे का कारण पीछे से ही माल में कमी होना बता रहे हैं।