50 मिनट चली कलीजियम की बैठक, जोसेफ पर नहीं हो सका फैसला

नई दिल्ली,सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की कलीजियम ने उत्तराखंड हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस केएम जोसेफ के नाम पर फिलहाल कोई फैसला नहीं लिया है। बुधवार को कलीजियम की मीटिंग करीब 50 मिनट तक चली। बता दें कि सरकार ने शुक्रवार को संबंधित फाइल कलीजियम को लौटा दी थी,जिसने 10 जनवरी को जस्टिस जोसेफ के नाम की सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में प्रमोट के लिए सिफारिश की गई थी। कलीजियम में सुप्रीम कोर्ट चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस जे चेलामेश्वर, राजन गोगोई, मदान बी लाकुर और कुरियन जोसेफ शामिल थे। इस मीटिंग में कई मुद्दों सहित जस्टिस केएम जोसेफ के नाम पर फैसला लिया जाना था,लेकिन 50 मिनट चली इस बैठक में इस मुद्दे पर फिलहाल कोई फैसला नहीं लिया गया है। संभावना जाहिर की जा रही हैं कि भविष्य में होने वाली कलीजियम की मीटिंग में इस मुद्दे पर फैसला लिया जा सकता है।
गौरतलब केंद्र सरकार ने जस्टिस जोसेफ की प्रोन्नति संबंधी कलीजियम की सिफारिश उसके पास पुनर्विचार के लिए लौटा दी थी। सरकार ने कहा कि यह प्रस्ताव शीर्ष अदालत के मापदंड के अनुरूप नहीं है और सुप्रीम कोर्ट में केरल का पर्याप्त प्रतिनिधित्व है। जस्टिस जोसेफ केरल से आते हैं। जसिट्स जोसेफ जुलाई,2014 से उत्तराखंड हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस हैं। वह इस साल जून में 60 साल के हो जाएंगे। उन्हें 14 अक्टूबर, 2004 को केरल हाईकोर्ट में स्थायी जज नियुक्त किया गया था और उन्होंने 31 जुलाई, 2014 को उत्तराखंड हाई कोर्ट का प्रभार संभाला था। सीजेआई दीपक मिश्रा, जस्टिस जे.चेलामेश्वर,जस्टिस रंजन गोगोई,जस्टिस मदन बी.लोकुर और जस्टिस कुरियन जोसेफ के कलीजियम ने जस्टिस केएम जोसेफ के नाम की सिफारिश सुप्रीम कोर्ट के जज के तौर पर की थी।
जस्टिस केएम जोसेफ की बेंच ने ही नरेंद्र मोदी सरकार के उत्तराखंड में राष्ट्रपति शासन के फैसले को बदल दिया था। जिसके बाद उत्तराखंड में कांग्रेस ने फिर से सरकार बनाई थी।

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