जम्मू,कठुआ में आठ साल की नाबालिग बच्ची के साथ गैंगरेप और हत्या के मामले की अगली सुनवाई 28 अप्रैल को होगी। इस मामले के सभी आरोपियों को सोमवार को जिला अदालत के समक्ष पेश किया गया। अभियुक्तों के वकील अंकुर शर्मा ने बताया कि न्यायालय ने सभी आरोपियों को चार्जशीट की कापी देने के निर्देश दिए है। उन्होंने कहा कि हम सभी आरोपियों के नार्को टेस्ट के लिए तैयार हैं। इस मामले की अगली सुनवाई 28 अप्रैल को होगी।
वहीं, एक आरोपी ने भी कहा है कि वह नार्को टेस्ट के लिए तैयार है। आरोपी का कहना है कि नार्को टेस्ट के बाद सारी सच्चाई खुद सामने आ जाएगी। कठुआ मामले में मुख्य आरोपी सांझी राम की बेटी ने इस घटना को षड्यंत्रकारी बताया है। उसने कहा कि वह बच्ची कोई हिंदू-मुसलमान की बच्ची नहीं थी। उस बच्ची के साथ कोई दुष्कर्म नहीं हुआ है, उसका मर्डर हुआ है। उस मर्डर की छानबीन सीबीआइ करे, तभी यह केस हल होगा अन्यथा निर्दोष ही फंसेंगे। वहीं, पीड़िता के पिता ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर केस कठुआ से चंडीगढ़ ट्रांसफर करने व सीबीआई जांच की मांग की है। इस पर सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई होगी।
उल्लेखनीय है कि यह सुनवाई आठ आरोपियों के खिलाफ की गई, जिन पर आठ साल की बच्ची के साथ सामूहिक दुष्कर्म के बाद उसकी हत्या करने का आरोप लगा है। इन लोगों पर आरोप है कि इन्होंने आठ साल की बच्ची को जनवरी में अगवा किया और एक सप्ताह तक मंदिर में बंधक बनाकर उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया। आरोपियों में एक नाबालिग भी शामिल है, जिसके खिलाफ एक अलग चार्जशीट दाखिल की गई है। वहीं पीड़िता की वकील दीपिका सिंह राजावत ने अपने साथ रेप या हत्या कराए जाने की आशंका जताते हुए इस मामले को जम्मू कश्मीर से बाहर ट्रांसफर कराए जाने की मांग की है। अधिकारियों ने कहा कठुआ के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट कानून के अनुसार एक चार्जशीट को सुनवाई के लिए सत्र अदालत के पास भेजेंगे, जिसमें सात लोग नामजद हैं। हालांकि नाबालिग आरोपी के खिलाफ मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट सुनवाई करेंगे, क्योंकि किशोर कानून के तहत यह विशेष अदालत है। जम्मू-कश्मीर सरकार ने इस संवेदनशील मामले में सुनवाई के लिए दो विशेष वकीलों की नियुक्ति की है और दोनों ही सिख हैं।