मण्डला,आदिवासी बाहुल्य मण्डला जिले में एसटी एक्ट में संशोधन के विरोध में सोमवार 2 अप्रैल को अनुसूचित समाज संगठनों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया । अनुसूचित वर्ग समाजों की बैठक में लिए गए निर्णय अनुसार कल 2 अप्रैल को स्थानीय स्टेडियम ग्राउंड में एकत्रीकरण के पश्चात एक विशाल रैली निकाली गई। जिसका नेतृत्व सभी समाज संगठनों के द्वारा किया गया। यह वृहद रैली सबसे पहले अम्बेडकर चौक पहुंची जहां बाबा साहेब अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यर्पण के पश्चात विविध क्रांतिकारी नारो के साथ रैली चिलमन चौक बस स्टैंड लालीपुर बिंझिया नेहरू स्मारक होते हुए कलेक्ट्रेट परिसर के समीप पहुंची। रैली के दौरान अनेक जनप्रतिनिधि उपस्थित रहे वहीं जो जनप्रतिनिधि अनुपस्थित रहे उनका बहिष्कार किये जाने की मांग उठाई गई। रैली के दौरान स्थानीय व्यापरिजनो से दुकान बंद करने की अपील भी की जाती रही जिसके परिणामस्वरूप अनेक व्यापरिजनो ने रैली गुजरने के दौरान तक अपनी दुकानों के शटर गिरा दिए थे इस सहयोग के लिए उनका आभार भी ज्ञापित किया गया है। रैली में एससी एसटी एक्ट को पुन: मूल स्वरूप में लागू किये जाने की नारेबाजी की गई साथ ही विविध क्रांतिकारी नारों के साथ विरोध दर्ज कराया गया। कलेक्ट्रेट पहुंचने के बाद हजारों के जनसैलाब ने अपना ज्ञापन केवल जिला कलेक्टर को ही सौंपे जाने को लेकर मांग की। कुछ देर के बाद जिला कलेक्टर भी आईं और प्रतिनिधि के रूप में संरक्षक पी एल वरकड़े व पूर्व विधायक नारायण पट्टा ने ज्ञापन पढ़कर सुनाया और एससी एसटी एक्ट में हुए संशोधन को निरस्त करते हुए उसे पुन: मूल स्वरूप में लागू किये जाने की मांग रखी गई।
इस विराट आंदोलन और विरोध प्रदर्शन को सफल बनाने में अनुसूचित जाति जनजाति अधिकारी कर्मचारी संघ, गोंडवाना महासभा,आदिवासी महापंचायत, गोंडवाना छात्रसंघ,जयस,अम्बेडकर संघ मण्डला, दी बुद्धिस्ट सोसायटी ऑफ इंडिया, रविदास अहिरवार संघ,झारिया मेहरा कल्याण संघ,मूलनिवासी सेवा समिति,आदिवासी विकास परिषद,अखिल भारतीय अनुसूचित जाति परिषद सहित समस्त समाज संगठनों ने अपनी पूरी ताकत लगाई और अनुसूचित समाज के समस्त नागरिकों ने इसे मिलकर सफल बनाया। विरोध प्रदर्शन के समस्त आयोजक संगठनों ने सभी नागरिकों व्यापरिजनो पुलिस प्रशासन मीडिया सहित सभी सहयोगियों का आभार ज्ञापित किया है और अधिकारों की इस लड़ाई में इसी तरह सहयोग देने की अपील की है।
बंद का व्यापारियों ने किया विरोध
मण्डला बंद का विरोध अन्य समाजिक संगठन व व्यापारियों द्वारा किया गया। मण्डला बंद को लेकर सोमवार को विवादस्पद स्थिति निर्मित हुई आदिवासी समाज के लोगों द्वारा सर्वोच्च न्यायालय द्वारा किये गये संशोधन का विरोध करते हुए रैली निकाली और ज्ञापन स्पां रैली शहर के विभिन्न चौराहों से निकल रही थी उस दौरान रैली में शामिल समाज के लोगों द्वारा जबरन दुकान बंद कराया जा रहा था हालांकि व्यापारियों ने दुकाने बंद नहीं की बल्कि दुकान बंद कराये जाने का विरोध किया। विरोध के चलते बस स्टेण्ड के पास स्थित सदगुरू मोबाईल शॉप के प्रो. किशोर आत्मज दयाराम सिहानी की दुकान में घुसकर रैली में शामिल गोंडवाना समाज के लोगों द्वारा कालर पकडी और गाली गालौच करते हुये जान से मारने की धमकी दी। जिसकी शिकायत पुलिस अधीक्षक को की गई। शिकायत करने के दौरान व्यापारी लोगों द्वारा बताया गया कि विरोध प्रदर्शन का यह तरीका ठीक नहीं था। हालांकि पहले से ही आशंका जताई जा रही थी कि एसटी एससी के संशोधन का विरोध करने वाले सामाजिक लोगों द्वारा जबरन दुकान बंद कराने पर आमादा होंगे इसलिये एक दिन पहले ही पुलिस अधीक्षक को इस संबंध में अवगत कराते हुये सुरक्षा की मांग की थी। शिकायतकर्ता आकाश क्षत्री चूंकि आवेदक की दुकान के नजदीक दुकान का संचालन करते हैं इसलिये घटनाक्रम की पूर्ण जानकारी से अवगत कराया। मारपीट की खबर जैसे ही व्यापारियों को लगी तो व्यापारी वर्ग भी एकत्रित होकर सिटी कोतवाली पहुंचे जहां उन्होंने संबंधितों के खिलाफ मामला दर्ज करने मांग की। माननीय सर्वोच्च न्यायालय द्वारा एससी एसटी एक्ट में कानूनी प्रावधानों में कुछ संशोधन किया गया जिसका व्यापारी विभिन्न समाज के संगठनों स्वागत किया। वहीं आदिवासी समाज के लोगों द्वारा न्यायालय के इस संशोधन पर पुर्नविचार की मांग की थी और संशोधन का विरोध भी किया ।