भोपाल,राजधानी पुलिस की सीआईडी शाखा में पदस्थ सब इंस्पेक्टर अमर सिंह ने खुद को अठ्ठारह साल पहले रिश्वत के मामले में फसाये जाने के मामले में कोर्ट से दोष मुक्त्त होने के बाद दोषी अफसरों के खिलाफ कार्यवाही न होने पर डीजीपी से इच्छा मृत्यु की मांग की है। एसआईआई अमर सिंह द्वारा इच्छा मृत्यु के पत्र को लेकर जहां पुलिस मुख्यालय में हड्कम्प मच गया वही गृह विभाग ने भी इसे गंभीरता से लेते हुए तुरंत ही नोटिस जारी करते हुए आवश्यक कार्यवाही किए जाने की निर्देश दिए है मामले में अमर सिंह का कहना है कि वर्ष 2000 में वो राजधानी के थाने में पदस्थ थे, इसी दौरान अफसरो ने द्वेषपूर्ण कार्यवाही करते हुए एक अपराधिक प्रवृत्ति के बदमाश के साथ मिलकर रिश्वत लेने के आरोप में योजना बनाकर उन्हें पकडा था। इस मामले में अधिकारियों ने उन्हें फंसाते हुए नियम विरुद्ध कार्यवाही करते हुए कोर्ट में चालान पेश किया लेकिन बाद में न्यायालय ने उन्हें दोषमुक्त करार देते हुए रिहा कर दिया। इसके बाद अमर सिंह ने आला अफसरों से उनके खिलाफ झूठी कार्यवाही करने वाले अफसरों के खिलाफ कार्यवाही की मांग की और उपरी अदालत भी पहुचे अम्रर सिंह का कहना है कि विभाग द्वारा न तो मेरे द्वारा मांगी गई जानकारी दी जा रही है और न ही आला अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही की जा रही है। आखिरकार प्रताडित होकर उन्होंने डीजीपी से मांग की है कि या तो उन्हें फसाने वाले अफसरो के खिलाफ कार्यवाही की जाये अन्यथा उन्हें इच्छा मृत्यु की इजाजत दी जाये।