दावोस,अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इजरायल के साथ शांति की पहल नहीं करने पर फिलीस्तीन को दी जाने वाली सहायता पर रोक लगाने की आज चेतावनी जारी करते हुए आरोप लगाया कि उसने (फिलीस्तीन ने) हाल में उप राष्ट्रपति माइक पेंस के दौरे के दौरान उनसे मुलाकात नहीं कर अमेरिका को नीचा दिखाने की कोशिश की।
ट्रम्प ने विश्व आर्थिक मंच में इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामीन नेतन्याहू से मुलाकात के बाद बोलते हुए कहा कि वह शांति चाहते हैं। हालांकि, उनकी टिप्पणी ने लंबे समय से रुके हुए इजरायल-फिलिस्तीनी वार्ता को पुनर्जीवित करने के उद्देश्य को नाकाम कर सकता है।
ट्रम्प की ओर से इजरायल की राजधानी के रूप में यरुशलेम को मान्यता देने और अमेरिकी दूतावास को वहां ले जाने की घोषणा के बाद फिलीस्तीनियों ने गत सप्ताह देश में पेंस की यात्रा को नजरअंदाज किया। यरुशलेम का दर्जा इजरायल-फिलिस्तीनी संघर्ष का मुख्य केंद्रबिंदु है।
गत दिसंबर में इजरायल के दावे के अनुरुप यरुशलेम को राजधानी के रूप में मान्यता देने की ट्रम्प के निर्णय की अरब देशों के नेताओं और दुनिया भर में जमकर आलोचना की गयी। इसके साथ ही दशकों पुरानी अमेरिकी नीति भी टूट गयी जिसमें कहा गया था कि शहर का दर्जा इजरायल और फिलस्तीनियों के बीच वार्ता में तय किया जाना चाहिए।
ट्रम्प ने कहा, उन्होंने गत सप्ताह हमारे महान उप राष्ट्रपति को उनसे मुलाकात की इजाजत नहीं देकर हमें अपमानित किया और हम उन्हें सहायता और समर्थन के तौर पर सैकड़ों मिलियन डॉलर दे देते हैं, भारी संख्या में, जो नंबर कोई नहीं समझ सकता। और यदि वे (फिलीस्तीनी) बैठकर शांति से बातचीत नहीं करते तो उनको सहायता राशि भी नहीं दी जाएगी।