छात्रों से जुटाया 3 करोड़‘मेरे दीनदयाल’ प्रतियोगिता पर रार ,नेहरू को सत्ता का लालची बताने पर भड़की कांग्रेस

भोपाल। भाजयुमो द्वारा कराई जा रही ‘मेरे दीनदयाल’ सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता का मंगलवार 23 जनवरी से शुभारंभ हो गया है। प्रतियोगिता में देश दुनिया से 30 लाख लोग शामिल हो रहे हैं। इस प्रितियोगिता को लेकर बांटी गई किताब से कांग्रेस खफा है,इसमें पूर्व प्रधानमंत्री पंडि़त जवाहरलाल नेहरू को ‘‘सत्ता का लालची’’ बताये जाने पर उसने कड़ा विरोध जाहिर किया है,उसके मुख्य प्रवक्ता के के मिश्रा ने कहा कि आजादी के संग्राम में गद्दारी करने वालों की संतानें (भाजयुमो) इतिहास में जहर घोलने का काम कर रही हैं, इसके पीछे राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ एक कायर और घृणित मिशन के तहत भाजयुमो के चेहरे को आगे कर अपने हित साध रहा है! इधर, परीक्षा आयोजित कराने के लिए भाजयुमो की ओर से पूरी तैयारी कर ली है। मोर्चा की और से दावा किया गया है कि प्रतियोगिता में हिस्सा ले रहे प्रतियोगियों को 27 लाख से ज्यादा सामान्य ज्ञान की पुस्तकें बांटी गई हैं। खास बात यह है कि प्रतियोगिता में शामिल होने के लिए मोर्चा कार्यकर्ताओं ने स्कूल-कॉलेजों में जाकर 26.12 लाख छात्रों से फार्म भराए हैं, जबकि 3.98 लाख ने ऑनलाइन हिस्सेदारी की है। जिसके एवज में छात्र-छात्राओं से 10 रुपए के हिसाब से 3 करोड़ रुपए का फंड एकत्रित किया गया है।
भाजयुमो द्वारा करोड़ों खर्च कर कराई जा रही ‘मेरे दीनदयाल’ प्रतियोगिता पर संगठन के भीतर ही सवाल उठ रहे हैं। क्योंकि अभी तक पार्टी की ओर से मोर्चा को किसी तरह का फंड नहीं दिया गया है। ऐसे में मप्र भाजपा के दिग्गज नेता इस बात को लेकर हैरान हैं कि आखिर प्रतियोगिता पर होने वाला खर्च कौन उठा रहा है। इस संबंध में भाजयुमो के प्रदेश प्रभारी पंकज जोशी ने स्पष्ट करते हुए बताया कि पूरी प्रतियोगिता निष्पक्ष होगी। उन्होंने बताया कि प्रतियोगियों के लिए 30 लाख पुस्तकों का प्रकाशन अलग-अलग प्रिंटर्स के माध्यम से कराया है। ये किताबें प्रतियोगियों को मोर्चा कार्यकर्ताओं के माध्यम से वितरित कराई गई है। उन्होंने कहा कि पार्टी से इसके लिए कोई फंड नहीं लिया है। सरकार से फंड मिलने की बात को भी उन्होंने पूरी तरह से नकारा है। जोशी ने बताया कि प्रत्येक प्रतियोगी से 10 रुपए फार्म भरने के लिए गए हैं। इससे किताबों का प्रकाशन कराया है। साथ ही अन्य खर्चे मोर्चा कार्यकर्ता आपस में मिलकर उठा रहे हैं।

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