रायपुर, 10वीं-12वीं की समयसारिणी घोषित किये जाने के साथ ही इसे लेकर छात्रों का विरोध शुरू हो गया है। न केवल छात्र, बल्कि शिक्षक और पालकों का एक बड़ा वर्ग भी इसका विरोध कर रहा है। विरोध दो परीक्षाओं के बीच मिलने वाले गैप को कम किये जाने का है। दरअसल पहली बार सीबीएसई ने लंबे गैप की परंपरा समाप्त करते हुए परीक्षाओं को लगभग एक माह में ही खत्म करने का फैसला लिया है। इससे पहले तक सीबीएसई की परीक्षायें दो महीने से भी अधिक अवधि तक चलती थी। टाइम-टेबल के विरोध और बदलाव की मांग के बीच सीबीएसई ने यह साफ कर दिया है कि टाइम-टेबल में किसी तरह का कोई बदलाव नहीं होगा। सीबीएसई का कहना है, 12वीं कक्षा की समयसारिणी प्रतियोगी परीक्षाओं को ध्यान में रखकर बनाई गई है। 200 से अधिक विषय है। छात्र इनमें से कोई भी विषय ले सकते हैं। साइंस के स्टूडेंट्स को एक आर्ट या कॉमर्स का सब्जेक्ट लेना अनिवार्य है।