नईदिल्ली,भारत में क्रिकेटरों की कमाई जहां करोड़ों में है, वहीं देश को दो बार नेत्रहीन क्रिकेट विश्व कप जिताने वाला कप्तान पैसे-पैसे को मोहताज है। एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत को दो बार नेत्रहीनों का क्रिकेट विश्व कप जिताने वाले शेखर नायक अब बेरोजगार हैं। पद्मश्री विजेता इस खिलाड़ी ने भारत को बेहद मजबूत टीम बनाया है। देश के लिए 13 साल खेलने वाले शेखर आज बेरोजगारी की मार झेलने का मजबूर हैं। कर्नाटक के शिमोगा जिले के रहने वाले शेखर ने 2002 से लेकर 2015 तक क्रिकेट खेला। वह 2010 से लेकर 2015 तक टीम के कप्तान थे। उनकी अगुआई में भारत ने पहली बार बेंगलुरु में टी20 विश्व कप और 2015 में केपटाउन में क्रिकेट विश्व कप जीता था।
लेकिन जैसे ही वह 30 के पार हुए उन्हें टीम में जगह नहीं दी गई। इसके बाद वह कुछ समय के लिए किसी एनजीओ से जुड़ गए पर बाद में निजी कारणों से नौकरी छोड़ दी। साल 2014 में कर्नाटक के मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टर ने विश्व कप में शानदार प्रदर्शन के लिए उन्हें तीन लाख रुपये दिए। शेखर अपने भविष्य को लेकर डरे हुए हैं। नौकरी को लेकर उन्हें सांसदों और विधायकों से भी संपर्क किया इस दौरान उन्हें आश्वासन तो काफी मिले पर नौकरी नहीं। अब शेखर ने एक बार फिर राज्य सरकार से इस मामले में संपर्क किया है। यह कोई पहला मामला नहीं है इससे पहले भी कई मामले ऐसे आये हैं पर अभी तक सरकार की कोई ठोस नीति सामने नहीं आई हैं, ऐसे में खेल को पौत्साहन देने की बात खोखला दावा ही नजर आती है।