भोपाल,मध्यप्रदेश के सबसे बड़े और चर्चित पीएमटी घोटाले में सीबीआई ने गुरुवार को जार्चशीट पेश कर दी। यह चार्जशीट पीएमटी-2012 के मामले में पेश की गई है। इसमें 592 आरोपियों के नाम शामिल हैं। सीबीआई की जांच में बड़ा खुलासा सामने आया है। इस घोटाले ने हजारों छात्रों का करियर चौपट किया है। घोटाले में प्रदेश के निजी मेडिकल कॉलेजों के नाम भी शामिल हैं।
भोपाल का पीपुल्स मेडिकल कॉलेज प्रबंधन पहले अपने चयनित छात्रों को परीक्षा में बैठाता था, वे अच्छे नंबर से पास होते और उन्हें सरकारी कोटे की सीट मिल जाती थी। बाद में वे छात्र सीट छोड़ (सरेंडर) देते थे इसके बाद यह सीट करोड़ों रुपये में निजी कोटे पर अन्य छात्रों को दे दी जाती थी।
चार्जशीट में इनके नाम
पीपुल्स मेडिकल कॉलेज के सुरेश एन विजयवर्गीय, अंबरीश शर्मा, डॉ. अशोक नागनाथ, विजय कुमार पांडे, एससी तिवारी, चिरायु मेडिकल कॉलेज के डायरेक्टर डॉ. अजय गोयनका, तत्कालीन डीएमई एनएम श्रीवास्तव, चेतेंद्र कुशवाह, नुसरत खान, डॉ. रवि सक्सेना, डॉ. विनायक भावसार, डॉ. अशोक कुमार जैन, विनोद नारखेड़े, विनोद कुमार वर्मा, जयकृत सिंह, अशोक कुमार समेत अन्य।
यह हैं आरोपी
सीबीआई की चार्जशीट में शामिल नाम बेहद बड़े और चौकाने वाले हैं। सूची में पीपुल्स ग्रुप के चेयरमैन सुरेश एन. विजयवर्गीय, उनके दामाद और डायरेक्टर एडमिनिस्ट्रेशन अंबरीश शर्मा, पीपुल्स के मेडिकल डायरेक्टर अशोक नागनाथ, पीपुल्स यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर विजय कुमार पांडे और चिरायु मेडिकल कॉलेज के डायरेक्टर डॉ. अजय गोयनका समेत दो अन्य मेडिकल कॉलेज के कर्ता-धर्ता भी शामिल हैं।
पहले ही मांग ली जमानत
सीबीआई के नोटिस मिलने के बाद आरोपियों में घबराहट का दौर है। ये सभी गुरुवार को जिला अदालत में दौड़-भाग करते नजर आए। संभव है कि चार्जशीट के बाद सीबीआई आरोपियों को गिरफ्तार भी करे। इन पर लगाए गए सभी अपराध गैर-जमानती हैं। इसलिए अग्रिम जमानत की अर्जी पेश की गई है।
एक नजर में
पीएमटी-2012 घोटाला
2000 करोड़ से ज्यादा का लेन-देन हुआ
5000 से ज्यादा छात्रों का भविष्य खराब
500 से ज्यादा पालकों सहित 2000 आरोपी बनाए गए
80 लाख रुपए देने पर मिलता था एमबीबीएस में दाखिला
1.5 करोड़ रुपए में पीजी की सीट मिलती थी