श्रीनगर,इन दिनों घाटी के युवाओं में आतंकी संगठनों से जुड़ने की खतरनाक प्रवृत्ति दिखाई दे रही है। सेना सूत्रों के अनुसार पिछले ढाई महीने में 31 युवा लश्कर और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों से जुड़े हैं। इस सूची में ताजा नाम 20 वर्षीय अनंतनाग निवासी माजिद खान का है, जो जिला स्तरीय फुटबाल खिलाड़ी रहा है। इस प्रतिभावान युवा खिलाड़ी ने कुछ दिन पहले ही लश्करे तैयबा से जुड़ने की घोषणा की थी। इस फैसले से उसके परिजन और रिश्तेदार और दोस्त सभी सदमें में हैं।
अनंतनाग के सरकारी बॉयज डिग्री कॉलेज से ग्रेजुएशन कर रहा माजिद सादिकाबाद इलाके का रहने वाला है। उसके दोस्त यावर नासिर ने इसी साल जुलाई में हिजबुल मुजाहिदीन जॉइन किया था। इस आतंकी संगठन से जुड़ने के महज 15 दिन के अंदर ही तीन अगस्त को नासिर की मौत सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में हो गई थी। शुक्रवार को एके-47 के साथ माजिद की तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई। इसके बाद ही इस युवा फुटबॉलर के लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ने का पता चला था।
इस आतंकी संगठन से जुड़ने से पहले माजिद एक समाजसेवी संस्था के साथ काम करता था। समाज कल्याण से जुड़े काम करने वाली इस संस्था में माजिद बतौर कार्यकर्ता जुड़ा था और वह इमर्जेंसी हेड था। अनंतनाग के एसएसपी अल्ताफ अहमद खान ने कहा कि माजिद अपने हमउम्र साथियों से प्रभावित हो गया। उसके कुछ साथी कुछ समय पहले ही विभिन्न आतंकी संगठनों से जुड़े हैं। खान ने बताया पुलिस के लिए युवाओं का कट्टरपंथी ताकतों के प्रति झुकाव और आतंकी संगठन में शामिल होना चिंता का विषय है। अपने फेसबुक पर माजिद ने लिखा सितारों की तरफ क्यों देखना जब एक ज्यादा बड़ा सितारा यहां है। माजिद के एक रिश्तेदार ने कहा, ‘वह बहुत प्रतिभाशाली बच्चा है।
हम बस यही दुआ करते हैं कि एक रोज वह सुरक्षित वापस लौट आएगा।’ सुरक्षा बलों से जुड़े एक सूत्र ने बताया पिछले ढाई महीने में 31 युवा लश्कर और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों से जुड़े हैं।’ एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया 1990 के दौर में घाटी में जब युवा आतंकी संगठनों से जुड़ रहे थे और आज जब युवा ऐसे संगठनों में शामिल हो रहे हैं, इसमें एक बड़ा फर्क है। आज के युवाओं की अपनी विचारधारा के लिए प्रतिबद्धता उस दौर से कहीं अधिक है।