बेंगलुरु,जल्द ही एक ई-वॉलिट से दूसरे ई-वॉलिट में पैसे ट्रांसफर कर सकेंगे। भारतीय रिजर्व बैंक ने 6 महीने के भीतर इस व्यवस्था को लागू करने का फैसला लिया है। इससे कैशलेस लेनदेन को बढ़ावा दिया जा सकेगा और एक ई-वॉलिट होने पर ही लेनदेन पर प्रतिबंध को भी समाप्त किया जा सकेगा। हालांकि केंद्रीय बैंक ने यह सुविधा उन ग्राहकों के लिए ही शुरू करने का फैसला लिया है, जिनकी केवाआईसी पूरी होगी। गौरतलब है कि ई-वॉलिट का उपयोग करने वाले लोगों में ऐसे लोगों की संख्या कम है, जिनकी केवाईसी पूरी है। इसी साल मार्च में आरबीआई ने इस संबंध में एक ड्राफ्ट तैयार किया था और आम लोगों से इसे लेकर सुझाव मांगे थे। 11 अक्टूबर को आरबीआई एक बार फिर से इस संबंध में आदेश जारी कर सकता है। आरबीआई ने यह प्रयास ऐसे समय में शुरू किया है, जबकि यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस का भी प्रयास तेजी से चल रहा है। यूपीआई के तहत आपको किसी एक ई-वॉलिट में पैसे रखने की जरूरत नहीं होगी और आप सीधे बैंक खाते से ही आसानी से रकम ट्रांसफर सकेंगे।