नई दिल्ली,अस्पतालों में लिए जाने वाले कमरों के किराए पर माल एवं सेवा कर (जीएसटी) नहीं लगेगा। केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड सीबीईसी ने किराया संबंधी जीएसटी की दरों पर स्पष्टीकरण जारी करते हुए कहा है कि अस्पतालों के कमरों का किराया जीएसटी के दायरे से बाहर होगा। हालांकि बोर्ड के मुताबिक होटल, गेस्ट हाउस आदि में लगाये गये वास्तविक शुल्क पर ही जीएसटी लगाया जाएगा। एक हजार रुपये से कम वाले कमरा किराये पर जीएसटी लागू नहीं होगा। एक हजार रुपये से अधिक तथा 2500 रुपये से कम के किराये पर 12 फीसदी तथा 2500 रुपये से 7500 रुपये तक के किराये पर 18 फीसदी जीएसटी लगेगा। 7500 रुपये से अधिक किराया होने पर जीएसटी की दर 28 फीसदी होगी। ये कर अतिरिक्त बिस्तर के शुल्क समेत पूरी राशि पर लगाये जाएंगे। मनोरंजन के कार्यक्रमों अथवा स्थानों, थीम पार्कों, वाटर पार्कों, जॉय राइड्स, गो कार्टिंग, कसिनोज, रेस कोर्स, बैलेट या आईपीएल जैसे खेल कार्यक्रम में जाने पर 28 फीसदी की दर से जीएसटी देय होगा। कसिनो में तथा सट्टा की राशि पर भी 28 फीसदी जीएसटी लगेगा।
गौरतलब है कि हेल्थकेयर को जीएसटी से छूट दी गई है। अपोलो हास्पीटल्स के चेयरमैन प्रताप सी रेड्डी ने कहा कि अगर हेल्थकेयर लागत दो फीसदी तक बढ़ती है तो अस्पताल उसे अपने स्तर पर वहन करने की स्थिति में होंगे लेकिन उससे अधिक बढोतरी होने पर उसका बोझा मरीजों पर डालने के सिवाए कोई विकल्प नहीं रहेगा। हॉस्पिटल के लिए जीएसटी में कोई प्रावधान नहीं है लेकिन कुछ उत्पादों व कुछ सेवाओं पर 15-18 फीसदी जीएसटी दर का बोझ सीधे हॉस्पिटल पर पड़ेगा। इसलिए जीएसटी के लागू होने के बाद अस्पतालों के लिए लागत लगभग दो फीसदी अधिक रहेगी। अपोलो के मुताबिक अगर बढोतरी दो फीसदी तक होती है तो अस्पताल इसे वहन कर लेंगे लेकिन अगर यह वृद्धि तीन या चार फीसदी रही तो देश में इलाज कराना महंगा हो जाएगा।