जिला अस्पताल के रूप में काम करता रहेगा महारानी अस्पताल – भंजदेव

जगदलपुर, महारानी अस्पताल के निजीकरण पर आपत्ति दर्ज करते हुए बस्तर महाराजा एवं छत्तीसगढ़ राज्य युवा आयोग के अध्यक्ष कमल चन्द्र भंजदेव ने सोमवार को आयुक्त स्वास्थ्य सेवाएं आर प्रसन्ना एवं प्रमुख सचिव लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग सुब्रत साहू से व्यक्तिगत मुलाकात कर पत्र दिया है। उन्होंने पत्र में महारानी अस्पताल का नाम एवं स्वास्थ सेवाओं को जिला अस्पताल के रूप में यथावत रखने का आग्रह किया है। इस पर आयुक्त प्रसन्ना ने जगदलपुर कलेक्टर से चर्चा करने के बाद महारानी अस्पताल का नाम एवं स्वास्थ्य सुविधाएं जिला अस्पताल के रूप में यथावत रखने की बात कही और फौरन फ़ैल रही अफवाहों को सरकारी विज्ञप्ती के माध्यम से रूकवाया।
भंजदेव ने बताया कि महारानी अस्पताल में बस्तर संभाग की जनता को पिछले 80 वर्षों से स्वास्थ्य सुविधाएं मिल रही हैं। एक करोड़ से अधिक़ जनता को स्वास्थ्य लाभ भी मिल चुका है। हमारे पूर्वज महारानी प्रफुल्ल कुमारी देवी ने जनहित में अस्पताल के लिए 40 एकड़ जमीन दान में दी थी, जिसमे 500 से ज्यादा बेड हैं और 100 से ज्यादा मेडिकल स्टाफ वर्षों से कार्यरत हैं। बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं के मिलने से जनता के लिए यह अस्पताल मंदिर सा बन गया है, जिसके प्रति लोगों की आस्था देखते ही बनती है। ऐसे में अस्पताल का निजीकरण किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जायेगा। अस्पताल से बस्तर संभाग के सातों जिलों के लोगों की भावनाएं जुडी हुई है, जो इसके निजीकरण के विरोध में सामने आ रहे हैं। भंजदेव ने कहा कि महारानी अस्पताल बस्तर राजपरिवार का प्राचीन धरोहर है, जिसकी स्थापना का मुख्य उद्देश्य बस्तर की जनता को सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं देना रहा है। ऐसे में अस्पताल का निजीकरण समझ से परे है। बता दे की 3 दिन पहले पूर्व जेडी द्वारा सीनियर डॉक्टर्स को बुलाकर उनसे अन्य केंद्रों में पदिस्थापना के ऑप्शन भरवाये गये थे इसके बाद से ही वर्षो से संचालित महारानी अस्पताल को निजी हाथों में दिये जाने के कयास लगाये जा रहे थे जिसे लेकर अब राज परिवार भी सामने आ खड़ा हुआ है वर्तमान महाराजा कमल चन्द्र भजंदेव ने उनके पूर्वजो द्वारा दान में दी गई जमीन पर बने महारानी अस्पताल का नाम बदलने या फिर निजी हाथों में दिये जाने का विरोध करते हुये इसे बस्तर में काले दिवस के रूप में देखे जाने की बात कही है बस्तर के आदिवासी राजपरिवार और उससे संबंधित सभी भवनों का आदर और सम्मान करते है उनमें से एक महारानी अस्पताल भी है। बस्तर महाराजा और युवा आयोग के अध्यक्ष कमल चन्द्र भंजदेव ने कहा है कि अब महारानी अस्पताल यथावत रहेगा- स्वाथ्य विभाग के उच्चाधिकारियों से चर्चा के बाद यह मामला अब साफ हो गया है कि अस्पताल मे कोई बदलाव या निजी हाथों मे नही जायेगा, बल्कि अब इस अस्पताल मे सुविधाये बढाने की मांग की जायेगी ताकि यह अस्पताल जिला चिकित्सालय के तौर पर बना रहे और बस्तर की जनता को स्वास्थ्य सेवाए मिलती रहें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *