वॉशिंगटन, अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने बिना नाम लिए ही नवनिर्वाचित राष्ट्रपति ट्रंप की नीतियों पर सवाल उठाते हुए भविष्य में किसी हिंदू के राष्ट्रपति बनने की इच्छा जताई है.
बतौर राष्ट्रपति अपनी पारी की अंतिम प्रेस कॉन्फ्रेंस में ओबामा ने नस्लीय विविधता को देश की ताकत बताया. उन्होंने कहा कि अलग-अलग नस्लों और आस्थाओं से ऊपर उठने वाले योग्य लोग ही अमेरिका की ताकत दर्शाते हैं. अपने आखिरी संबोधन में ओबामा ने अपनी बेटियों पर भी गर्व जताया. 20 जनवरी को ओबामा की जगह डॉनल्ड ट्रंप अमेरिका के राष्ट्रपति बनेंगे.
ओबामा ने कहा, हम देखेंगे कि योग्य लोग हर जाति, आस्था से उपर उठेंगे क्योंकि यही अमेरिका की ताकत है. जब हर किसी को मौका मिलता है और हर कोई मैदान में होता है तो हम और बेहतर होते हैं. ओबामा ने साल 2008 में जबरदस्त जीत हासिल करके अमेरिका का पहला अश्वेत राष्ट्रपति बनकर इतिहास रचा था. रिपब्लिकन पार्टी के डॉनल्ड ट्रंप 20 जनवरी को शपथ ग्रहण के बाद राष्ट्रपति पद का कार्यकाल संभालेंगे.
ओबामा से जब पूछा गया कि क्या वह फिर से किसी अश्वेत राष्ट्रपति के चुने जाने की उम्मीद करते हैं तो उन्होंने कहा, भविष्य में एक महिला, एक यहूदी और एक लातिनी राष्ट्रपति मिलेगा. अमेरिका में जातीय, नस्लीय एवं धार्मिक विविधता का स्पष्ट जिक्र करते हुए कहा, कौन जानता है कि हमें कौन सा राष्ट्रपति मिलेगा.